खुद के आशियाने में परिवार के साथ हंसी-खुशी जीवन व्यतीत कर रहा सुकलाल नेताम
प्रधानमंत्री आवास योजना से सुकलाल के पक्के मकान का सपना हुआ सच
धमतरी | छत्तीसगढ़ एक ऐसा राज्य है जो अपनी अनूठी संस्कृति और आदिवासी क्षेत्र के लिए जाना जाता है। छत्तीसगढ़ में ही एक जिला धमतरी है, जो कि प्रसिद्ध जिलों में से एक है। धमतरी के नगरी विकासखंड जो कि आदिवासी बाहुल्य, सघन वनों से घिरा हुआ है एवं छत्तीसगढ़ की गंगा कही जाने वाली चित्रोत्पला महानदी, महर्षि श्रृंगी ऋषि की तपो भूमि तथा सप्त ऋषियों की पावन धरा है। नगरी विकासखंड में ही एक ग्राम पंचायत कसपुर है, जो कि क्षेत्रफल की दृष्टिकोण से सबसे बड़ा ग्राम पंचायत है। ग्राम पंचायत कसपुर में निवास करने वाले एक हितग्राही सुकलाल नेताम पिता कानसिंह है। परिवार में कुल 4 सदस्यों में से स्वयं एवं 03 बच्चों के साथ निवासरत है। श्री सुकलाल के पत्नी की मृत्यु के बाद वह बहुत दुखी था। उसके पास रहने के लिए पक्का घर नहीं था। कच्चा घर के कारण उन्हें और उनके बच्चे को बरसात के मौसम में विभिन्न समस्याओं से जूझना पड़ता था। शासन द्वारा प्रदाय 1.5 एकड़ भूमि में खेती किसानी कर अपना जीवन यापन करते थे । श्री सुकलाल आदिम जनजातीय समूह से हैं और शासन द्वारा आदिम जाति समूह को समाज की मुख्य धारा में जोड़ने हेतु प्रधानमंत्री जनजाति न्याय महाभियान योजना का शुभारंभ 15 जनवरी 2024 को किया गया।
वर्ष 2023-24 में उनके नाम से प्रधानमंत्री जनमन योजना के तहत प्रधानमंत्री आवास स्वीकृत किया गया । इससे पक्का घर स्वीकृत होने के बाद उन्हें अपने सपनों का घर बनाने की उम्मीद जगी और यह उनके लिए एक सपने के सच होने जैसा था।आवास स्वीकृत होने के बाद उन्हें 40 हज़ार रुपए की पहली किस्त मिली और उन्होंने निर्माण शुरू कर दिया। घर की भौतिक प्रगति के अनुसार उन्हें क्रमशः दूसरी और तीसरी किस्त और कुल राशि 2 लाख रुपये और 90 दिन की मजदूरी मनरेगा से सहायता भी मिली। अब वह अपने स्वयं के पक्के मकान में रह रहे है, जो पूरी तरह बनकर तैयार हो चुका है। अब उसे बरसात या मौसम परिवर्तन की चिंता नहीं है। सुकलाल और उसका परिवार प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत बने घर में रहते हैं। वह अपनी रोजमर्रा की जरूरतों को पूरा करने के लिए बांस की टोकरियां और अलग-अलग चीजें बनाते हैं। जरूरतमंद लोगों के लिए योजना शुरू करने हेतु वह बहुत खुश हैं और राज्य एवं भारत सरकार के आभारी हैं। उन्हें पी एम जनमन के माध्यम से अपना सपनों का घर मिल गया और वह खुशी-खुशी अपना जीवन यापन रहे हैं।