गौठानों में ना हो पानी और चारा की दिक्कत कलेक्टर पी.एस.एल्मा ने ग्रामीण गौठानों की समीक्षा के दौरान दिए निर्देश

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गौठानों में नियमित तौर पर गोबर खरीदी सुनिश्चित करें नोडल अधिकारी

क्लस्टर नोडल गंभीरता से मॉनिटरिंग करें

धमतरी | 08 अप्रैल ज़िले के ग्रामीण गौठानों में गोधन न्याय योजना की प्रगति की समीक्षा कलेक्टर  पी.एस.एल्मा ने की। गौरतलब है कि ज़िले में पिछले 6 और 7 अप्रैल को आयोजित किए गए ’गौठान पहुंच दिवस’ कार्यक्रम के बाद  कलेक्टर ने ग्रामीण क्षेत्र के 282 निर्मित गौठानों के नोडल और क्लस्टर नोडल की बैठक ली। पिछले दो दिनों में क्लस्टर नोडल अपने क्लस्टर के गौठानों का घूम-घूमकर मुआयना किए हैं। इसमें ग्रामीण, शहरी और आवर्ती चराई के गौठानों का भ्रमण के बाद क्लस्टर नोडल द्वारा चेकलिस्ट में जानकारी भरकर उपलब्ध कराई गई है। उस आधार पर डीब्रीफिंग बैठक ली गई।

बैठक में गौठानों में गोबर खरीदी, हितग्राहियों को भुगतान, तैयार खाद और उसकी बिक्री, तैयार वर्मी टांके, गौठान मैप में एंट्री, अधोसंरचना की स्थिति, समस्या और महिला समूहों की मांग की बारी-बारी से समीक्षा की गई। इसके अलावा ग्रामीण गौठानों में कार्यरत महिला समूहों की रुचि अनुरूप उन्हें आर्थिक गतिविधियों से जोड़ने के लिए प्रस्ताव बनाकर देने के निर्देश भी कलेक्टर ने दिए। वर्तमान में ज़िले के कुल 282 में 249 ग्रामीण गौठान क्रियाशील हैं। मार्च माहांत तक सक्रिय गौठानों में कुल दो लाख 69 हजार 434 क्विंटल गोबर खरीदी की गई। इसके एवज में कुल आठ हजार 750 हितग्राहियों को पांच करोड़ 38 लाख 88 हजार 976 रुपए का भुगतान किया गया ।

सुबह 10.30 बजे से ज़िला पंचायत सभाकक्ष में रखी गई इस समीक्षा बैठक में कलेक्टर ने गर्मी के मौसम को देखते हुए सभी नोडल और क्लस्टर नोडल को गौठानों में पशुओं के लिए पानी की दिक्कत ना हो यह सुनिश्चित करने कहा है। साथ ही चारा की उपलब्धता भी सुनिश्चित करने पर उन्होंने जोर दिया। कलेक्टर ने कड़े शब्दों में चेताया कि सभी गौठान में प्राथमिकता से गोबर खरीदी, उसका भुगतान नियमित तरीके से हो। इसमें कोताही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। उन्होंने सभी क्लस्टर नोडल को नियमित तौर पर अपने क्षेत्र के गौठानों की मॉनिटरिंग करते रहने के निर्देश दिए हैं। साथ ही कृषि अमले को पोर्टल में सही तरीके से एंट्री भी समय पर करने के निर्देश दिए। कलेक्टर ने सभी गौठानों में गोबर खरीदी का समय-सारिणी तय कर उसे सूचना पटल पर चस्पा करवाने के निर्देश दिए, जिससे गर्मियों में हितग्राहियों को गोबर बेचने में कोई दिक्कत ना हो।

उल्लेखनीय है  नगरी विकासखंड के गौठानों की वस्तुस्थिति की समीक्षा की गई। यहां 47 सक्रिय गौठानों में 8 क्लस्टर नोडल बनाए गए हैं। योजना शुरू होने से अब तक 18142.02 क्विंटल गोबर खरीदी की गई। इसमें से 6494.57 क्विंटल तैयार वर्मी खाद में से 3082.83 क्विंटल बेचा गया। उत्पादित 94.60 क्विंटल सुपर कंपोस्ट खाद में से 46.50 क्विंटल बेचा गया। नगरी के बाद कुरूद विकासखंड के सक्रिय 76 ग्रामीण गौठानों की चेकलिस्ट के आधार पर समीक्षा की गई। कुरूद विकासखंड में कुल 76 सक्रिय ग्रामीण गौठानों में 16 क्लस्टर नोडल बनाए गए हैं। बैठक में बताया गया कि यहां कुल 90577.82 क्विंटल गोबर खरीदा गया। उत्पादित वर्मी खाद 15174.51 क्विंटल में से 8086.27 क्विंटल बेचा गया। इसी तरह 689.90 क्विंटल तैयार सुपर कम्पोस्ट खाद में से 106.2 क्विंटल बेचा गया।  दूसरी पाली में मगरलोड और धमतरी के ग्रामीण गौठानों की प्रगति की भी कलेक्टर ने समीक्षा की। इस मौके पर मुख्य कार्यपालन अधिकारी ज़िला पंचायत श्रीमती प्रियंका महोबिया, उप संचालक कृषि और उनका अमला, संबंधित क्लस्टर नोडल, मुख्य कार्यपालन अधिकारी जनपद पंचायत, नोडल अधिकारी बैठक में उपस्थित रहे।